पिस्टल से फायर कर जानलेवा हमला करने वाले आरोपीगण को 07-07 वर्ष की सजा ‘‘राजीनामे के बाद भी सजा‘‘ #ANI_NEWS_INDIA |
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ब्यूरो चीफ नागदा, जिला उज्जैन // विष्णु शर्मा : 8305895567
नागदा . न्यायालय श्रीमान विक्रम सिंह बुले, अपर सत्र न्यायाधीश महोदय, तहसील नागदा जिला उज्जैन के न्यायालय द्वारा आरोपीगण 01. राजा उर्फ राधेश्याम पिता घांसीराम, उम्र 37 वर्ष 02. जगदीश पिता घंासीराम उम्र 42 वर्ष 03. दिनेश पिता घांसीराम उम्र 31 वर्ष, 04. सुरेश पिता मांगीलाल उम्र 32 वर्ष समस्त निवासीगण बिरलाग्राम नागदा जिला उज्जैन में आरोपीगण को धारा 307 सहपठित धारा 149 में प्रत्येक आरोपीगण को 07-07 वर्ष का सश्रम कारावास एवं धारा 148 में प्रत्येक आरोपीगण को 01-01 वर्ष का सश्रम कारावास एवं आरोपी जगदीश एवं राजा उर्फ राधेश्याम को आयुध अधिनियम 27 में 03-03 वर्ष का सश्रम कारावास एवं कुल 14,000/- रूपये के अर्थदण्ड से दंडित किया गया है।
उप-संचालक (अभियोजन) डॉ0 साकेत व्यास ने अभियोजन घटना अनुसार बताया कि घटना दिनांक 01.08.2012 को रात्रि 10ः45 बजे रात मंे फरियादी अशोक ने हमराह अपने भाई नाथूलाल के साथ आकर पुलिस थाना बिरलाग्राम में आकर रिपोर्ट लेखबद्ध कराई कि वह बिरलाग्राम में रहता है, वह मुनीर तथा उसका भतीजा सुरेश घर के सामने बैठकर बातचीत कर रहे थे कि एकदम से पीछे की गली से एकमत होकर राजा उर्फ राधेश्याम अपने भाई जगदीश और दिनेश तथा सुरेश के साथ आया। राजा तथा उसके भाई जगदीश के हाथ में पिस्टल थी तथा दिनेश के हाथ में लठ्ठ व सुरेश के हाथ में लोहे का पाइप था, आरोपी राजा बोला कि मारो सालों को और राजा तथा जगदीश ने फरियादी को पिस्टल से फायर कर उस पर गोली चलाई एक गोली उसके सीने के उपर बीच में तथा दूसरी गोली दाहिने तरफ सीने में बगल में लगी।
खून निकलने लगा, दिनेश, सुरेश भी लठ्ठ और पाइप से मारपीट करने लगे और उसके भतीजे सुरेश ने तथा मुनीर ने बीच-बचाव किया तो पीछे से आये आरोपी धोनी उर्फ पप्पू ने सुरेश को चाकू से मारा, जो उसे बायंे तरफ और गर्दन पर पीछे की तरफ चोट लगी खून निकला फिर वह भागकर अपने घर की तरफ जा रहा था कि रास्ते में उसका भाई नाथूलाल मिला जिसे घटना बताई जो उसके साथ थाने आया घटना से करीब 06 माह पहले झगडा राजा से हुआ था, उसी रंजिश को लेकर राजा ने उस पर जान से खत्म करने की नियत से गोली चलाकर जानलेवा हमला किया। फरियादी की रिपोर्ट पर से थाना बिरलाग्राम द्वारा आरोपीगण के विरूद्ध अपराध पंजीबद्ध किया गया। आवश्यक अनुसंधान के पश्चात् आरोपीगण के विरूद्ध अभियोग पत्र न्यायालय में प्रस्तुत किया गया था। न्यायालय द्वारा अभियोजन के तर्कों से सहमत होकर आरोपीगण को दण्डित किया गया।
दण्ड का प्रश्नः-
अभियुक्तगण द्वारा निवेदन किया गया कि आरोपीगण नवयुवक है, आरोपीगण व आहत के मध्य राजीनामा हो गया है, इस आधार पर उनके विरूद्ध सहानुभूतिपूर्वक विचार किया जाये। अभियोजन अधिकारी द्वारा अभियुक्तगण को कठोर दण्ड से दण्डित किये जाने का निवेदन किया।
न्यायालय की टिप्पणीः-
आरोपीगण द्वारा एकमत होकर आहतगण को चोटें पहुॅचाई है उसको देखते हुऐ आरोपीगण का कृत्य गंभीर प्रकृति का है। अतः आरोपीगण के प्रति सहानुभूतिपूर्वक विचार नहीं किया जा सकता।
नोटः- अभियुक्त पप्पू उर्फ धोनी पिता बाबूलाल की विचारण के दौरान मृत्यु हो गई थी।
प्रकरण में शासन की ओर से पैरवी श्री केशव रघुवंशी, विशेष लोक अभियोजक नागदा, जिला उज्जैन द्वारा पैरवी की गई।